रांची। प्रदेश के हजारों शिक्षक अरसे से जिला स्थानांतरण की मांग कर रहे हैं। कई शिक्षकों के मां-पिता बुजर्ग हैं, तो कई शिक्षक अपनी परिवारिक परेशानियों में उलझे होने के बावजूद अन्य जिलों में पदस्थ हैं। शिक्षक संघ काफी लंबे वक्त से जिला स्थानांतरण की मांग करते रहे हैं। लेकिन विभाग स्तर पर इस दिशा में कोई पहल नहीं की गयी है। जिला स्थानांतरण की लंबे समय से मांग कर रहे एकीकृत गृह जिला स्थानांतरण शिक्षक संघ के मुख्य प्रदेश प्रतिनिधि प्रेम प्यारे लाल ने सरकार से जिला स्थानांतरण की प्रक्रिया जल्द शुरू करने की मांग की है।

  • प्रेम प्यारे लाल ने प्रेस बयान जारी कर कहा है कि शिक्षकों का अंतर जिला, गृह जिला स्थानांतरण से सरकारी विद्यालयों में किसी प्रकार की समस्या नहीं रहेगी। इसके उलट शिक्षकों की कार्यशैली में बदलाव होगा। उन्होंने कहा कि शिक्षकों का जिला स्थानांतरण होता है और वो अपनों के बीच पठन पाठन कराते हैं, तो इसका अनुकूल प्रभाव बच्चों और शैक्षणिक स्तर पर भी पडेगा।
  • प्रेम प्यारे लाल के मुताबिक जिला स्थानांतरण होने से ना सिर्फ शिक्षकों को, बल्कि शिक्षा के स्तर को भी होगा। उन्होंने इसके फायदे भी गिनाये हैं।
  • 01.शिक्षक शिक्षिकाओं का गृह जिला स्थानांतरण होने से मनोयोग से कार्य करेंगे,बिना टेंशन के।
  • 02.इसमें सरकार को कोई वित्तीय बोझ अलग से नहीं होगा।
  • 03.सरकारी स्कूल में गरीब के बच्चे ही ज्यादा पढ़ते हैं,उनको शिक्षक गृह जिला में रहने से गुणवत्तापूर्ण शिक्षा देने के लिए हमेशा तत्पर रहेंगे, क्योंकि कोई पारिवारिक तनाव नहीं रहेगा। पारिवारिक दायित्व निर्वहन के साथ गुणवत्तापूर्ण शिक्षा देंगे।
  • 04.प्राथमिक शिक्षक को हमेशा गृह जिला गृह प्रखण्ड में रहना चाहिए, जिससे क्षेत्रीय भाषा की भी समस्या नहीं होगी।
  • 05.सरकारी शिक्षक गृह जिला गृह प्रखण्ड में रहने पर विद्यालय में अतिरिक्त समय भी दे पायेंगे। विद्यालय का परिवेश हमेशा ठीक रहेगा।
  • इसीलिए सभी शिक्षक शिक्षिकाओं का यथाशीघ्र अंतर जिला, गृह जिला स्थानांतरण होना चाहिए, डायरेक्ट आवेदन लेकर, आनलाइन प्रक्रिया में बहुत विलम्ब हो रही।उच्च न्यायालय का भी आदेश है कि आनलाइन स्थानांतरण में विलम्ब हो रहा है तो आफलाइन किया जाय।

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