रांची: कैश कांड में मनी लॉन्ड्रिंग के आरोपी कारोबारी अमित अग्रवाल को सुप्रीम कोर्ट से अंतरिम जमानत मिल गई है। गिरफ्तार किए जाने के 3 महीने बाद कारोबारी अमित अग्रवाल को जमानत मिली है। मामले में सुप्रीम कोर्ट ने सशर्त जमानत दी है। इस मामले में एक अन्य आरोपी अधिवक्ता राजीव कुमार को झारखंड हाईकोर्ट से पहले ही जमानत मिल चुकी है। पीआईएल मैनेज करने के लिए रिश्वत देने के आरोप में प्रवर्तन न्यायालय ने अमित अग्रवाल को गिरफ्तार किया था। हाईकोर्ट ने अमित अग्रवाल की जमानत याचिका खारिज कर दी थी।

7 अक्टूबर 2022 को कारोबारी अमित अग्रवाल से रांची स्थित केंद्रीय एजेंसी को जोनल ऑफिस में लंबी पूछताछ के बाद गिरफ्तार कर लिया था। 8 अक्टूबर को उन्हें कोर्ट में पेश किया गया जहां उन्हें न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया था। तब से अमित अग्रवाल रांची के बिरसा मुंडा केंद्रीय कारागार में बंद थे। तब से अमितअग्रवाल पर आरोप है कि उन्होंने अधिवक्ता राजीव कुमार को एक जनहित याचिका से नाम हटाने के बदले 50 लाख की रिश्वत दी। ईडी ने इस मामले में मनी लॉन्ड्रिंग एक्ट के तहत केस दर्ज किया था। दिलचस्प बात यह है कि अमित अग्रवाल ने खुद अधिवक्ता राजीव कुमार को 50 लाख नगद के साथ रंगे हाथ पकड़ावाया था। कोलकाता पुलिस ने राजीव कुमार को गिरफ्तार किया था।

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