रांची : झारखंड के मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन के सार्थक प्रयास से लगातार मानव तस्करी के शिकार बालक/बालिकाओं को मुक्त कराकर उनके घरों में पुनर्वास किया जा रहा है। उसी कड़ी में मानव तस्करी की शिकार पाकुड़ की 4 बच्चियां एवं साहिबगंज की 1 महिला को दिल्ली में मुक्त कराया गया।

सरकारी योजनाओं का मिलेगा लाभ

महिला एवं बाल विकास विभाग द्वारा सभी जिले को सख्त निर्देश दिया गया है कि जिस भी जिले के बच्चे को दिल्ली में मुक्त कराया जाता है, उन्हें जिले के जिला समाज कल्याण पदाधिकारी एवं बाल संरक्षण पदाधिकारी द्वारा वापस अपने जिले में पुनर्वास किया जाएगा। इसी के तहत पाकुड़ के जिला समाज कल्याण पदाधिकारी अंजू कुमारी एवं जिला बाल संरक्षण पदाधिकारी ब्यास ठाकुर की टीम द्वारा पहल करते हुए मुक्त हुए लोगों को दिल्ली जाकर अपने संरक्षण में ट्रेन से वापस पाकुड़ लाया जा रहा है। इन बच्चियों को समाज कल्याण विभाग द्वारा संचालित विभिन्न योजनाओं से जोड़ा जाएगा।

कराया जा रहा पुनर्वास

स्थानिक आयुक्त मस्तराम मीणा के निर्देशानुसार एकीकृत पुनर्वास-सह-संसाधन केंद्र, नई दिल्ली के द्वारा लगातार दिल्ली के विभिन्न बालगृहों का भ्रमण कर मानव तस्करी के शिकार, भूले- भटके या किसी के बहकावे में फंसकर असुरक्षित पलायन कर चुके बच्चे, युवतियों को वापस भेजने की कार्रवाई की जा रही है।इसे लेकर दिल्ली पुलिस, बाल कल्याण समिति, नई दिल्ली एवं सीमावर्ती राज्यों की बाल कल्याण समिति से लगातार समन्वय स्थापित कर मानव तस्करी के शिकार लोगों की पहचान कर मुक्त कराया जा रहा है। उनका पुनर्वास भी किया जा रहा है।

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