रांची। हेमंत सोरेन के लिए शुक्रवार का दिन काफी अहम होने वाला है। एक तरफ जहां PMLA कोर्ट में उनके रिमांड पर फैसला सुनाया जायेगा, तो वहीं सुप्रीम कोर्ट में भी हेमंत सोरेन की याचिका पर सुनवाई होगी। सुप्रीम कोर्ट में सुबह 10.30 बजे सुनवायी होनी है। इससे पहले पीएमएलए कोर्ट में गुरुवार को पेश किया गया। पीएमएलए कोर्ट से हेमंत सोरेन की रिमांड मांगी है।

10 दिन की मांगी गयी रिमांड को लेकर अदालत में सुनवाई हुई। उसके बाद सीएम हेमंत सोरेन को न्यायिक अभिरक्षा में रांची जेल भेज दिया गया। हेमंत सोरेन के रिमांड पर सुनवाई आज फिर होगी। आपको बता दें कि सेना की जमीन घोटाले मामले में बुधवार की देर रात हेमंत सोरेन को ईडी ने गिरफ्तार कर लिया था।

गिरफ्तारी से पहले बुधवार को हेमंत सोरेन से दिनभर पूछताछ हुई थी। हेमंत सोरेन को गुरुवार दोपहर बजे कोर्ट में पेश किया गया।हालांकि हेमंत सोरेन की तरफ से इस बात का विरोध किया गया और यह कहा गया कि उन्हें गलत तरीके से गिरफ्तार किया है, लेकिन इस पक्ष को कोर्ट ने नहीं माना। दरअसल हेमंत सोरेन का प्रतिनिधित्व कर रहे वरिष्ठ अधिवक्ता कपिल सिब्बल और ए एम सिंघवी ने सुप्रीम कोर्ट के मुख्य न्यायाधीश डी वाई चंद्रचूड़ के नेतृत्व वाली तीन न्यायाधीशों की पीठ के समक्ष मामले का उल्लेख किया।

गुरुवार को हुई सुनवाई में सॉलिसिटर जनरल तुषार मेहता ने कहा कि सोरेन की गिरफ्तारी को चुनौती देने वाली एक समान याचिका झारखंड उच्च न्यायालय में दायर की गई थी और इसे सुनवाई के लिए सूचीबद्ध किया गया है। सिब्बल ने कहा कि उनके मुवक्किल उच्च न्यायालय से याचिका वापस ले लेंगे। पीठ, जिसमें न्यायमूर्ति जेबी पारदीवाला और न्यायमूर्ति मनोज मिश्रा भी शामिल थे. उन्होंने कहा कि याचिका शुक्रवार को सुनवाई के लिए सूचीबद्ध की जाएगी।

संक्षिप्त सुनवाई के दौरान सिब्बल ने कहा कि गिरफ्तारी ज्ञापन में कहा गया है कि 10 बजे, वे कहते हैं कि शाम 5 बजे गिरफ्तार किया गया. इस बात पर जोर दिया कि यह बहुत गंभीर मामला है। ईडी के वकील ने कहा कि हेमंत सोरेन पर भी गंभीर आरोप हैं। सिब्बल ने कहा कि चुनाव से पहले गिरफ्तार करते रहेंगे। हेमंत सोरेन के वकीलल ने कहा कि आम चुनाव से ठीक पहले गिरफ्तारी के तरीके से देश की राजनीति पर प्रतिकूल प्रभाव पड़ता है।

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