Delhi blast: जान गंवाने वाले आठ लोग कौन…

Delhi blast: दिल्ली के लाल क़िला मेट्रो स्टेशन के पास 10 नवंबर को हुए भयंकर कार धमाके में कम से कम आठ लोगों की मौत हो गई। धमाके की चपेट में आए मृतकों में पेशे से ई-रिक्शा और कैब चालक शामिल थे, कुछ लाल क़िले के इलाके में व्यवसाय करते थे, जबकि कुछ बस किसी का इंतज़ार कर रहे थे।

मारे गए आठ लोगों की सूची:
मोहम्मद जुम्मन, मोहसिन मलिक, दिनेश मिश्रा, लोकेश अग्रवाल, अशोक कुमार, नोमान, पंकज साहनी और अमर कटारिया।

Delhi blast:मोहसिन मलिक, 28 साल

मेरठ के मूल निवासी मोहसिन दिल्ली के सिविल लाइन्स में रहते थे और लाल क़िले के आसपास ई-रिक्शा चलाते थे। धमाके के समय वह घटना स्थल से कुछ मीटर की दूरी पर खड़े थे। परिजनों ने बताया कि मोहसिन के दो छोटे बच्चे हैं और उनके परिवार का सदमा गहरा है।

दिनेश मिश्रा, 35 साल

उत्तर प्रदेश के श्रावस्ती के रहने वाले दिनेश चावड़ी बाजार में शादी के कार्ड की दुकान में काम करते थे। उनके पीछे पत्नी और तीन छोटे बच्चे हैं। उनके भाई ने बताया कि अस्पताल में उन्हें अपने भाई के शव के बारे में देर से जानकारी मिली।

मोहम्मद जुम्मन, 39 साल

Delhi blast:बिहार के मूल निवासी जुम्मन दिल्ली में ई-रिक्शा चलाते थे। धमाके में उनका शरीर क्षत-विक्षत हो गया था। उनके परिवार में पत्नी और पांच बच्चे हैं।

नोमान, 22 साल

झिंझाना, शामली का रहने वाला नोमान एक कॉस्मेटिक की दुकान चलाते थे। धमाके में उनकी मौके पर ही मौत हो गई। उनके भाई अमन घायल हो गए और अस्पताल में आईसीयू में हैं।

लोकेश अग्रवाल, 55 साल

उत्तर प्रदेश के अमरोहा निवासी लोकेश अपने रिश्तेदार से मिलने दिल्ली आए थे। सड़क पर भीषण जाम और धमाके ने उनकी जान ले ली। उनके परिवार का सदमा गहरा है।

अशोक कुमार, 35 साल

Delhi blast:डीटीसी बस कंडक्टर अशोक भी धमाके में मारे गए। उनके पीछे पत्नी और तीन छोटे बच्चे हैं।

पंकज सहनी, 22 साल

समस्तीपुर के रहने वाले पंकज प्राइवेट कैब चालक थे। दिल्ली में अपने पिता के साथ रहते थे। उनके परिवार में शोक का माहौल है।

अमर कटारिया, 34 साल

श्रीनिवासपुरी में रहने वाले अमर का लाल क़िले इलाके में फ़ार्मा व्यवसाय था। धमाके के बाद उनका परिवार गहरे सदमे में है।

परिवारों का दर्द:
परिजन अस्पताल में घंटों इंतजार करते रहे और कई को शव की पहचान करने के लिए मॉर्चरी तक जाना पड़ा। बच्चों और पत्नी-पतियों के बीच असीम दुख फैला हुआ है।

Delhi blast:सरकारी प्रतिक्रिया:
घटना के बाद दिल्ली की मुख्यमंत्री और देश के गृह मंत्री मौके पर पहुंचे और प्रभावितों से मुलाक़ात की। अस्पताल प्रबंधन का कहना है कि गंभीर स्थिति में प्राथमिकता मरीज़ों के इलाज की होती है।दिल्ली धमाके ने न सिर्फ लोगों की ज़िंदगी छीन ली बल्कि परिवारों के दिलों में गहरा शोक और सदमा छोड़ गया है।

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