गुमला: आधुनिक युग में ऐसे लोगों की कमी नहीं जो जादू टोना और झाड़-फूंक में विश्वास रखते हैं । कुछ ऐसा ही दिखा गुमला सदर अस्पताल में जहां घण्टों आईसीयू में झाड़ फुक का ड्रामा चलता रहा। सदर अस्पताल के आईसीयू वार्ड में सर्पदंश भर्ती मरीज का इलाज अंधविश्वास के जाल में जकड़े उसके परिजन ओझा और भगत बुलाकर झाड़-फूंक कराने में जुटे रहे। इस दौरान अस्पताल प्रबंधन ने उन्हें किसी भी तरह उन्हें रोकने की कोशिश नहीं की।

जानकारी के अनुसार सदर प्रखंड के आम्बुआ के रहने वाले शक्ति नायक की 25 वर्षीय पत्नी अर्चना देवी को जहरीले सांप ने डंस लिया। आनन-फानन में परिजनों ने अर्चना को सदर अस्पताल में भर्ती कराया। जहां डॉक्टरों ने बेहतर इलाज के लिए रेफर कर दिया। लेकिन महिला के परिजन उसे जल्दी रिम्स ले जाने के बजाय ओझा बुलाकर झाड़ फुक कराने में जुट गए। ओझा भी पूरे तामझाम के साथ पहुँचा और अगरबत्ती जलाने के बाद चावल से मरीज की पीठ पर थाली को चिपकाकर जहरीले सांप का बिष उतारने की कोशिश करता रहा। तकरीबन दो-तीन घंटे ओझा की नौटंकी चली और वहां भर्ती मरीज इसे देखते रहे। फिलहाल महिला की स्थिति गंभीर बनी हुई है। बाबजूद उसके परिजनों उसे रिम्स ले जाने के बजाय झाड़ फुंक पर ध्यान दे रहे हैं।

यह मामला पहला नहीं जहां गुमला सदर अस्पताल में इस तरह का तमाशा हुआ हो। 3 दिन पहले भी एक बच्चे को सर्पदंश के बाद लाया गया था। उसका भी अस्पताल परिसर पर ही ओझा बुलाकर झाड़-फूंक कराया गया था, इस दौरान उसकी मौत हो गई थी। अस्पताल में लगातार हो रहे इस तरह के मामलों पर अस्पताल प्रबंधन ने चुप्पी साध रखी है।हालांकि डॉक्टर यह जरूर कहते हैं कि जब भी किसी को साँप काटे तुरंत अस्पताल लाना चाहिए।

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