मंत्री इरफान बोले, खरमास हुआ खत्म, अब ऑपरेशन इरफान चालू, घटिया चादर और टूटे बेड देख भड़के, कहा, इतना पैसा देते हैं फिर भी ऐसी स्थिति…

Minister Irfan said, the trouble is over, now Operation Irfan is on, he got angry after seeing the poor sheets and broken beds, said, they pay so much money, yet such a situation...

Irfan Ansari News: झारखंड में स्वास्थ्य व्यवस्था का क्या हाल है? ये किसी से छुपा नहीं है। अब इसका अहसास खुद स्वास्थ्य मंत्री इरफान अंसारी को भी होने लगा है। प्रधान सचिव अजय कुमार सिंह के साथ स्वास्थ्य मंत्री इरफान अंसारी धनबाद एसएनएमएमसीएच पहुंचे, तो वहां के बदइंतजामी देख वो भी परेशान हो गये। कहीं बेड़ टूटा था, तो कहीं बिस्तर पर चादर घटिया क्वालिटी का बिछा था। स्वास्थ्य मंत्री ने कहा कि ड्रेसिंग रूम में भी काफी स्थिति खराब है।

इरफान अंसारी ने कहा कि पहली बार कोई डाक्टर स्वास्थ्य मंत्री बना है, इससे सभी लोग उत्साहित है, लेकिन अब बेहतर काम भी करना होगा। उन्होंने कहा कि संथाल परगना के लोगों को जल्द ही सुपर स्पेशलिस्ट अस्पताल की सौगात मिलेगी। खरमास 14 तारीख तक था. अब ऑपरेशन इरफान अंसारी शुरू हो गया है।

स्वास्थ्य मंत्री ने इस दौरान वार्डों का निरीक्षण किया और मरीजों से भी स्वास्थ्य व्यवस्था को लेकर फीडबैक लिया। उन्होंने बदइंतजामी के लिए अस्पताल अधीक्षक को फटकार भी लगायी। चादर और वार्ड में बेड की स्थिति देख वे भड़क गए। उन्होंने एसएनएमएमसीएच के अधीक्षक संजय कुमार चौरसिया को बुलाया और बदइंतजामी के लिए फटकार भी लगायी।

इरफान अंसारी ने पत्रकारों से कहा कि खराब व्यवस्था है, उसे ठीक करेंगे। उन्होंने पत्रकारों से ही पूछा कि आपने देखा बेड कितना खराब है, ऐसी स्थिति में कौन आएगा. हम इतना खर्च करते हैं, और उसके बाद यह हाल है। जल्द ही चादर और बेड की खरीदी होगी। बजट में स्वास्थ्य के लिए बेहतर व्यवस्था की जायेगी। उन्होंने मीडिया से बात करते हुए उन्होंने कहा कि स्वास्थ्य मंत्री बनने के बाद पहली बार एसएनएमएमसीएच का निरीक्षण करने आया हूं।

यह बहुत पुराना अस्पताल है। उन्होंने अस्पताल को रेफरल अस्पताल बनने को लेकर भी नाराजगी जतायी। उन्होंने कहा कि सभी लोग लगे हुए हैं, अस्पताल को थोड़ा ठीक करने की जरूरत है. थोड़ी सफाई की जरूरत है। हम इसे बेहतर बनाने की दिशा में काम कर रहे हैं. यहां मरीज इलाज के लिए आते हैं. लेकिन उन्हें तुरंत यहां से रेफर कर दिया जाता है. ऐसा नहीं होना चाहिए।

उन्होंने कहा कि सरकारी अस्पताल की अनदेखी अच्छी बात नहीं है। यहां यही हो रहा है। सभी डॉक्टर हमारे हैं और नाम प्राइवेट अस्पताल का हो रहा है. हम ऐसा नहीं होने देंगे। निरीक्षण के दौरान हम व्यवस्था से संतुष्ट नहीं हैं. लेकिन हम यहां आए हैं, हम इस व्यवस्था को ठीक करेंगे।

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