शादी घोटाला : IAS-IPS और जज बनकर करता था ये शख्स, फिर लड़की को कंगाल कर हो जाता था फरार, पुलिस ने शातिर बंटी-बबली को किया गिरफ्तार
Marriage scam: This man used to do it by posing as IAS-IPS and Judge, then he used to flee after making the girl bankrupt, police arrested the cunning Bunty-Babli

Crime News: पुलिस ने एक ऐसे ठग को गिरफ्तार किया है, जो मेट्रिमोनियल साइट्स पर कभी खुद को जज, तो कभी IAS या IPS अधिकारी बताता था। सोशल साइट्स पर ये पहले भरोसा जीतता और फिर करोड़ों की ठगी करता। पुलिस ने आरोपी विष्णु शंकर गुप्ता और उसकी कथित पत्नी आयुषी गुप्ता को नवाबगंज से पकड़ा है। पूरा मामला यूपी के कानपुर का है।
महिलाओं को शादी का झांसा देकर करोड़ों की ठगी करने वाले गैंग का कानपुर पुलिस ने पर्दाफाश किया है। पुलिस ने नवाबगंज से ठगी के मुख्य आरोपी विष्णु शंकर गुप्ता (42) और उसकी कथित पत्नी आयुषी गुप्ता (33) को गिरफ्तार किया है। आरोपी लंबे समय से फर्जी पहचान का सहारा लेकर महिलाओं को फंसाता और उनसे मोटी रकम ऐंठता था।
जज बनकर रची साजिश, 59.50 लाख की ठगी
बताया जा रहा है कि आरोपी ने केजीएमयू (लखनऊ) की एक नर्सिंग अधिकारी से मेट्रिमोनियल साइट पर फर्जी प्रोफाइल के जरिए संपर्क किया। खुद को जज बताकर कई महीनों तक बातचीत की और फिर शादी का प्रस्ताव रखा। पीड़िता का विश्वास जीतने के बाद उसने लग्जरी कार दिलाने का झांसा देकर लगभग 59.50 लाख रुपये हड़प लिए।
पीड़िता के अनुसार, आरोपी ने उसे कानपुर के सिविल लाइंस स्थित एक मॉल बुलाया, जहां उसने फर्जी नंबर प्लेट लगी कार में बैठाकर नकद रकम ली और फिर सिनेमा हॉल में दाखिल हुआ। कुछ देर बाद वह बहाना बनाकर वहां से फरार हो गया। ठगी का एहसास होने पर पीड़िता ने कर्नलगंज थाने में शिकायत दर्ज कराई।
सीसीटीवी और कॉल डिटेल से मिली सफलता
डीसीपी सेंट्रल श्रवण कुमार सिंह ने बताया कि पुलिस टीम ने मामले की जांच के दौरान 380 से अधिक सीसीटीवी फुटेज खंगाली और कॉल डिटेल रिकॉर्ड (CDR) निकाले। जांच के बाद पुलिस आरोपी तक पहुंची और नवाबगंज से दोनों को गिरफ्तार कर लिया।
गिरफ्तारी के दौरान आरोपी ने पुलिस पर अपने पालतू कुत्ते छोड़कर बचने की कोशिश की, लेकिन पुलिस ने काबू पा लिया। रकम बरामद कराने से इनकार करने पर पुलिस ने मोहल्ले में गधों पर बैठाकर जुलूस निकालने की चेतावनी दी। बदनामी के डर से आरोपी टूट गया और 42.50 लाख रुपये बरामद करा दिए।
पत्नी भी बनी थी शिकार, बाद में बनी साथी
पूछताछ में आयुषी गुप्ता ने बताया कि पहले वह भी इसी ठग की साजिश का शिकार बनी थी। बाद में दोनों ने शादी कर ली, तलाक लिया और फिर साथ रहने लगे। इसके बाद दोनों ने मिलकर महिलाओं को ठगने का धंधा शुरू कर दिया।
10 से अधिक महिलाओं को बनाया निशाना
जांच में यह भी सामने आया कि आरोपी सिर्फ एक नहीं, बल्कि 10 से अधिक महिलाओं को अपना शिकार बना चुका है। वह असली अफसरों की पोस्टिंग और तैनाती तक की जानकारी जुटाकर अपनी प्रोफाइल को विश्वसनीय बनाता था, जिससे महिलाएं आसानी से उसके जाल में फंस जाती थीं।फिलहाल पुलिस ने आरोपी को जेल भेज दिया है और अन्य पीड़िताओं की तलाश जारी है। पुलिस को शक है कि आरोपी के पास और भी ठगी के मामले सामने आ सकते हैं।









