झारखंड: “पुलिसकर्मियों के ट्रांसफर-पोस्टिंग के नाम पर हो रहा खेला” पुलिस मेंस एसोसिएशन का गंभीर आरोप, 600 आवेदनो की नहीं हो पा रही सुनवाई, मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन….

Jharkhand: "Games being played in the name of transfer-posting of policemen", serious allegation of Police Men's Association, 600 applications not being heard, Chief Minister Hemant Soren....

Jharkhand Police News। झारखंड पुलिस एसोसिएशन ने एक बार फिर पुलिस मुख्यालय के खिलाफ बड़ा मोर्चा खोल दिया है। एसोसिएशन के संयुक्त सचिव राकेश पांडेय ने अफसरों पर बेहद गंभीर आरोप लगाये हैं। पुलिस मेंस एसोसिएशन का कहना है कि पुलिसकर्मियों के वेलफेयर से जुड़े मुद्दे पर पुलिस मुख्यालय बिल्कुल भी गंभीर नहीं है। राकेश पांडेय का कहना है कि 600 से अधिक आवेदन मुख्यालय में लंबित हैं, लेकिन उन पर कोई सुनवाई नहीं हो रही है।

 

उन्होंने ये भी आरोप लगाया है कि पिछले कई महीनों से इन फाइलों को जानबूझकर रोका गया है और जिन पुलिसकर्मियों को सहायता की अत्यधिक आवश्यकता है, उन्हें उनका हक नहीं मिल पा रहा। उन्होंने कहा कि यह स्थिति न केवल पुलिसकर्मियों के मनोबल को गिरा रही है, बल्कि उनके कामकाज को भी प्रभावित कर रही है।

 

उन्होंने यह भी आरोप लगाया कि पुलिस मुख्यालय में डीजीपी के करीबी अधिकारी ट्रांसफर और पोस्टिंग का खेल खेल रहे हैं। जरूरतमंद और पात्र पुलिसकर्मियों को नजरअंदाज किया जा रहा है जबकि चहेते अधिकारियों को मनचाहे स्थानों पर नियुक्त किया जा रहा है।

 

राकेश पांडेय ने कहा, “जो फाइलें महीनों से धूल फांक रही हैं, उनमें कई अत्यावश्यक मामलों से संबंधित हैं। इसमें बीमारी, पारिवारिक संकट, या सेवा के दौरान उत्पन्न हुए विशेष मामलों से जुड़ी सहायता की फाइलें शामिल हैं। पुलिसकर्मी दिन-रात अपनी ड्यूटी निभाते हैं और उन्हें उनके हक से वंचित किया जा रहा है।”

 

उन्होंने मुख्यमंत्री हेमंत सोरेन से हस्तक्षेप की मांग करते हुए कहा कि ट्रांसफर और पोस्टिंग में व्याप्त अनियमितताओं की उच्चस्तरीय जांच कराई जानी चाहिए ताकि व्यवस्था पारदर्शी हो और पुलिसकर्मियों को न्याय मिल सके।

 

गौरतलब है कि झारखंड पुलिस एसोसिएशन लंबे समय से राज्य के पुलिसकर्मियों की समस्याओं, सुविधाओं और वेलफेयर के मुद्दों को उठाता रहा है। एसोसिएशन का कहना है कि यदि समय रहते प्रशासन ने स्थिति को नहीं संभाला तो पुलिसकर्मियों के बीच असंतोष और बढ़ेगा।

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