झारखंड : देवघर हादसे के पीड़ितों के लिए सहायता राशि का ऐलान…सरकार ने मृतकों के परिजनों को देने का किया वादा
Relief money announced for the victims of Deoghar accident...Government promised to give it to the families of the deceased

देवघर: श्रावणी मेला के दौरान देवघर के मोहनपुर थाना क्षेत्र अंतर्गत जमुनिया चौक पर सोमवार सुबह हुए सड़क हादसे में छह श्रद्धालुओं की मौत और 24 अन्य के घायल होने के बाद झारखंड सरकार हरकत में आ गई है। स्वास्थ्य एवं आपदा प्रबंधन मंत्री डॉ. इरफान अंसारी ने घटना स्थल का दौरा किया और मृतकों के परिजनों को ₹1 लाख की अनुग्रह राशि देने की घोषणा की है। उन्होंने कहा कि सरकार पीड़ित परिवारों के साथ खड़ी है और सभी घायलों का समुचित इलाज सुनिश्चित किया जा रहा है।
डॉ. अंसारी ने देवघर सदर अस्पताल पहुंचकर घायलों से मुलाकात की और चिकित्सा अधिकारियों को गंभीर रूप से घायलों को बेहतर सुविधाओं से लैस उच्च केंद्रों (जैसे एम्स) में रेफर करने का निर्देश दिया। उन्होंने बताया कि, “मुख्यमंत्री श्री हेमंत सोरेन जी से मेरी बातचीत हुई है। उन्होंने स्पष्ट निर्देश दिया है कि चाहे श्रद्धालु झारखंड से हों या बाहर से आए हों, राज्य सरकार हर परिवार की हर संभव मदद करेगी। हमने मृतकों के परिजनों को ₹1 लाख की सहायता तत्काल देने का निर्णय लिया है।”
जिलाधिकारी ने बताया हादसे का विवरण और राहत कार्य की स्थिति
देवघर के उपायुक्त (DC) ने मीडिया को जानकारी देते हुए बताया कि हादसा सुबह 5:30 बजे के आसपास उस समय हुआ जब कांवड़ियों से भरी बस देवघर से बासुकीनाथ की ओर जा रही थी। रास्ते में ड्राइवर को झपकी आने के कारण बस पहले गैस सिलेंडर से भरे ट्रक से टकराई और फिर लगभग 200 फीट तक बिना नियंत्रण के घिसटती चली गई।
घटना में चार श्रद्धालुओं की मौके पर ही मौत हो गई, एक ने सदर अस्पताल में दम तोड़ा और एक अन्य की मौत एम्स देवघर में इलाज के दौरान हुई। 24 लोग घायल हुए हैं, जिनमें से आठ का इलाज एम्स में चल रहा है और तीन की हालत गंभीर है। शेष घायलों को प्राथमिक उपचार के बाद घर भेज दिया गया है।
घायलों को भी मिलेगी सहायता, जांच के दिए गए निर्देश
डीसी ने कहा कि मृतकों के परिजनों को आपदा प्रबंधन विभाग की नीति के तहत ₹1 लाख की राशि दी जाएगी, वहीं गंभीर रूप से घायलों को विशेष राहत कोष से अलग से सहायता दी जाएगी। सरकार ने हादसे की उच्च स्तरीय जांच के आदेश भी दिए हैं।
इसके साथ ही उपायुक्त ने बताया कि पूर्व में हुई स्कूली बस दुर्घटना के बाद बनाई गई छह सदस्यीय समिति द्वारा जिले की सभी शैक्षणिक व पब्लिक ट्रांसपोर्ट बसों के फिटनेस, इंश्योरेंस, ड्राइवर लाइसेंस आदि की जांच कराई जा रही है। मेला क्षेत्र में चल रही सभी बसों और चालकों की विस्तृत पड़ताल के निर्देश दिए गए हैं। थकान और नींद की वजह से होने वाले हादसों से बचाव के लिए शिफ्ट आधारित ड्राइवर व्यवस्था लागू करने की दिशा में कदम उठाए जा रहे हैं।