धनबाद हादसा:20 लाख रूपये और एक आश्रित को मिलेगी नौकरी, ग्रामीणों और रेलवे अधिकारियों के बीच बनी सहमति..

धनबाद में प्रधानखंता स्टेशन के समीप हुए हादसे के बाद रेलवे अधिकारी और ग्रामीणों के बीच लगभग 12 घंटे की वार्ता के बाद मुआवजे को लेकर सहमति बन गई है। सहमति के बाद सभी चारों शवों को बाहर निकाल लिया गया है। जिसे पोस्टमार्टम के लिए भेजने की तैयारी की जा रही है। घटना मंगलवार रात की है।

कैसे हुआ हादसा

ग्रामीणों के अनुसार रात में अंडरपास का निर्माण कार्य चल रहा था ।इसी दौरान रेलवे लाइन से मालगाड़ी गुजरी जिसके बाद अचानक मिट्टी धंस गई । ग्रामीणों ने बताया कि रेलवे लाइन से 10 फीट नीचे मजदूर काम कर रहे थे। अंडरपास धसने से वहा काम कर रहे 6 मजदूर मलबे में दब गए। घटना के बाद ग्रामीणों की सहयोग से 2 मजदूरों को बाहर निकाल लिया गया। लेकिन 4 मजदुर की मौत हो गयी।

रेलवे पर लापरवाही का आरोप

बता दे कि घटना की सूचना तत्काल रेलवे के अधिकारी को दी गई थी ।लेकिन रेलवे अधिकारी रात 11:00 बजे के बाद ही घटनास्थल पर पहुंचे। रेलवे अधिकारियों की इस लापरवाही की वजह से ग्रामीण आक्रोशित थे। ग्रामीणों ने बताया कि निर्माणाधीन अंडरपास के ऊपर से रात 9:00 बजे के बाद मालगाड़ी गुजरी जिससे मिट्टी धंसने की घटना घटी ।उन्होंने कहा कि इस घटना के बाद काफी देर बाद कार्रवाई शुरू हुई, जिससे मलबे में दबे 4 मजदूरों की मौत हो गई ।ग्रामीण इस घटना के लिए रेलवे के अधिकारियों को दोषी ठहरा रहे हैं ।घटना के बाद मजदूरों के शव को बाहर निकालने से मना कर दिया ।रात में कई दौर की बातचीत असफल रहने के बाद आज सुबह 13 जुलाई को रेलवे अधिकारियों और परिजनों के बीच मुआवजे को लेकर सहमति बनी। इसके अनुसार मृतक के परिजन को 20 लाख मुआवजा और उनके एक आश्रित को रेलवे में कॉन्ट्रैक्ट पर नौकरी दी जाएगी। फिलहाल आश्रितों को दाह संस्कार के खर्च के तौर पर 50,000 दिए गए हैं।

क्या कहते हैं मृतक के आश्रित

जब इस पूरे मामले में मृतक के आश्रित से बात की गई तो उन्होंने कहा कि और अस्थायी नौकरी हमें नहीं चाहिए। पूरे परिवार का जिम्मा हमारे पिताजी पर था और अब पूरा परिवार का जिम्मा मेरे ऊपर है, ऐसे में अस्थाई नौकरी से कुछ नहीं होने वाला है मुझे हर हाल में स्थाई नौकरी चाहिए। फिलहाल सभी शवों को बाहर निकाल लिया गया है और पोस्टमार्टम के लिए धनबाद भेज दिया गया ।

मजदूरों को नहीं उपलब्ध कराई गई थी सुरक्षा

स्थानीय ग्रामीणों ने बताया कि जितने भी मजदूर कार्यरत थे और जिनकी मौत हुई सभी बगल के गांव छाताकुली के रहने वाले हैं। मजदूरों को किसी प्रकार की सुरक्षा उपलब्ध नहीं कराई गई थी। घटना स्थल पर सुरक्षा मानकों की अनदेखी की गई ।ऐसे में सवाल उठता है कि इतनी बड़ी दुर्घटना को लेकर रेलवे किस प्रकार की कार्रवाई आगे आने वाले दिनों में करेंगे अभी देखने वाली बात होगी।

HPBL Desk
HPBL Desk  

हर खबर आप तक सबसे सच्ची और सबसे पक्की पहुंचे। ब्रेकिंग खबरें, फिर चाहे वो राजनीति की हो, खेलकूद की हो, अपराध की हो, मनोरंजन की या फिर रोजगार की, उसे LIVE खबर की तर्ज पर हम आप तक पहुंचाते हैं।

Related Articles

Next Story