चार शिक्षक बर्खास्त: शिक्षा विभाग की बड़ी कार्रवाई, गड़बड़ी में पकड़ाये चार शिक्षकों को किया गया बर्खास्त, तीन पर FIR दर्ज कर वेतन की होगी रिकवरी

Four teachers dismissed: Big action by the Education Department, four teachers caught in irregularities were dismissed, salary will be recovered by filing FIR against three.

Teacher Par Action: तीन शिक्षकों को विभाग ने बर्खास्त कर दिया है। विभाग ने ना सिर्फ तीनों पर बर्खास्तगी की कार्रवाई की है, बल्कि सभी के खिलाफ FIR दर्ज कर वेतन रिकवरी के भी आदेश दिये हैं। आरोप है कि तीनों ने फर्जी प्रमाणपत्र पर नौकरी हासिल की थी। मामला बिहार के बक्सर का है। इन नियोजित शिक्षकों को प्रखंड नियोजन इकाई द्वारा बर्खास्त कर दिया गया।

तीनों के विरुद्ध प्राथमिकी कर वेतन वसूली की भी कार्रवाई शुरू कर दी गई है।फर्जी प्रमाणपत्र के आधार पर ब्रह्मपुर प्रखंड में तीन लोग प्रखंड शिक्षक की नौकरी प्राप्त करने में सफल हो गए। तीनों शिक्षकों ने नियुक्ति के समय माध्यमिक शिक्षा परिषद, वाराणसी के प्रमाण पत्र जमा किए गए थे।जांच में प्रमाणपत्रों को फर्जी पाए जाने के बाद जिला कार्यक्रम पदाधिकारी, बक्सर द्वारा बर्खास्त करने का आदेश दिया गया था।

इसी आदेश के आलोक में मध्य विद्यालय, बड़की नैनीजोर में कार्य नियोजित शिक्षक उमेश प्रसाद, मध्य विद्यालय, चंद्रपुर में कार्यरत नियोजित शिक्षक ग्राम प्रवेश यादव और मध्य विद्यालय, गायघाट में कार्यरत नियोजित शिक्षक भारत कुमार यादव को नियोजन इकाई की बैठक में बर्खास्त कर दिया गया।

फर्जी प्रमाणपत्र पर नौकरी करने वाले बर्खास्त तीनों नियोजित शिक्षकों के विरुद्ध प्राथमिकी दर्ज करने और वेतन वसूली की कार्रवाई शुरू कर दी गई है।इन शिक्षकों के योगदान तिथि से लेकर कार्रवाई की तिथि तक वेतन का हिसाब किताब कर वसूल करने के लिए प्रखंड शिक्षा पदाधिकारी को आदेश दिया गया है।

जेल में बंद आरोपी शिक्षक भी बर्खास्त

इधर बक्सर जेल में आजीवन कारावास की सजा काट रहे नियोजित शिक्षक को भी सेवा से बर्खास्त कर दिया गया है। प्रखंड विकास पदाधिकारी सह नियोजन इकाई के सचिव सोनू कुमार ने बताया कि जिला एवं सत्र न्यायाधीश द्वारा आजीवन कारावास की सजा सुनाए जाने के बाद मध्य विद्यालय, मनकी में कार्यरत नियोजित शिक्षक सुदर्शन राम को बर्खास्त करने का आदेश जिला शिक्षा पदाधिकारी द्वारा दी गई थी।

बताया जाता है कि शिक्षक को संगीन अपराध के मामले में इसी साल 27 मई को न्यायालय द्वारा आजीवन कारावास सजा सुनाई गई थी। इसके अलावा ब्रह्मपुर प्रखंड में चार और शिक्षकों के फर्जी प्रमाण पत्र होने की शिकायत मिलने के बाद शिक्षा विभाग द्वारा जांच करने का आदेश दिया गया है।

इसी आदेश के आलोक में चारों शिक्षकों के प्रमाणपत्रों की जांच करने के लिए संबंधित विभाग में भेज दिया गया है। प्रखंड विकास पदाधिकारी ने बताया कि जांच रिपोर्ट मिलने के आलोक में आगे की कार्रवाई की जाएगी।

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