नई दिल्ली: भारत का पड़ोसी देश नेपाल एक बार फिर भूकंप की चपेट में हैं. शुक्रवार देर रात आए 6.4 तीव्रता वाले इस भूकंप के कारण कई इमारतें ढह गई हैं और तबाही का आलम यह है कि 128 लोगों की मौत हो चुकी है. अभी भी मौतों के आंकड़े बढ़ सकते हैं. मलबे में दबने के कारण कई लोग गंभीर रूप से घायल हुए हैं, जिन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
नेपाल में तबाही मचाने वाले भूकंप की तीव्रता का अंदाजा इस बात से लगाया जा सकता है कि उसका असर दिल्ली- एनसीआर समेत पूरे उत्तर भारत में देखा गया. बिहार के पटना और मध्य प्रदेश के भोपाल तक भूकंप के हल्के झटके महसूस किए गए. दिल्ली-एनसीआर में लोग अपने घरों से बाहर निकल आए और हाईराइज बिल्डिंग में रहने वाले लोगों में अफरा- तफरी देखी गई. दरअसल, बीते हर महीने लगभग एक बार दिल्ली-एनसीआर में भूकंप के झटके लगे हैं।
नेपाल के राष्ट्रीय भूकंप मापन केंद्र के मुताबिक भूकंप का केंद्र नेपाल के जाजरकोट जिले के लामिडांडा इलाके में था. नेपाल के प्रधानमंत्री पुष्प कमल दहल ‘प्रचंड’ ने भूकंप से हुई लोगों की मौत पर दुख जताया है. उन्होंने बचाव और राहत के लिए 3 सुरक्षा एजेंसियों को तैनात किया है. इस भूकंप का असर यूपी के लखनऊ में भी देखा गया था, जहां लोग झटके महसूस होने के बाद घरों से बाहर निकल आए थे।